मन करता है
चलो आज मैं ,
फिर छोटा बच्चा बन जाऊँ
खेलूं कूदूं ,नाचूँ ,गाऊँ
उछल उछल इतराऊँ
मन करता है...
खूब हँसूं मैं
मुक्त स्वरों मेंं
धमाचौकड़ी मचाऊँ
फिर माँ दौड़ीदौडी़ आए
झूठ मूठ की डाँट लगाए
मैं पल्लू उसके छुप जाऊँ
मन करता है .....
उछल उछल कर चढूं पेड़ पर
तोड़ कच्ची इमली खाऊँ
झूलूं बरगद की शाखा पर
गिरूं अगर तो झट उठ जाऊँ
मन करता है.....
शुभा मेहता
15th Nov ,2017
बाल सुलभ आचरण निश्छल निष्पाप मन अमिया इमली कुछ भी खाओ न कोई रोकने वाला ना कोई टोकने वाला चोट न भी लगे तो झूठ मूठ का रोना इतराना वाह बहन कितना बड़िया चित्रण किया है आज उम्र के इस पड़ाव में तूने वहीँ पहुँचा दिया ढेर-ढेर प्यार और आशीर्वाद 😊😊😊👏👏👏👏😘😘😘😘
ReplyDeleteAashirwad banaye rakhiye
DeleteWah shubha di Kya likha hai bilkul balak man banakar aapne present kiya hai!!! So nice!! Great!! Regards
ReplyDeleteBahut bahut dhanyawad kshama
Deleteवाह शुभा जी ।
ReplyDeleteसच में जीवन में बचपन के आनंद की अनुभूति जैसा कुछ नहीं । ये जीवन चक्र का वो अध्याय है जिसको जीने का बार बार मैन करता है । इतनी सुंदर रचना हेतु मेरा अभिनंदन स्वीकार करें । नमस्कार ।
बहुत बहुत धन्यवाद राजेश जी ।
Deleteवाह शुभा जी ।
ReplyDeleteसच में जीवन में बचपन के आनंद की अनुभूति जैसा कुछ नहीं । ये जीवन चक्र का वो अध्याय है जिसको जीने का बार बार मैन करता है । इतनी सुंदर रचना हेतु मेरा अभिनंदन स्वीकार करें । नमस्कार ।
Nicely expressed Shubha ji. You reminded many aspects of childhood.
ReplyDeleteThanku soo much Surajit ji
DeleteBahut bahut dhanyawad Surajit ji
Deleteबहुत ही प्यारी सुन्दर रचना
ReplyDeleteधन्यवाद नीतू जी ।
Deleteबहुत सुंदर रचना शुभा जी।कोमल भाव से भरी हुई👌
ReplyDeleteसुंदर रचना शुभा जी। बालसुलभ धमाचौकड़ी की निश्चलता को खोलते हुए. बधाई!!!
ReplyDeleteआपका बहुत बहुत आभार सर ।
Deleteअतिसुन्दर लेखनी.
ReplyDeletehttp://sabhindime.com/childrens-day-wishes-quotes/
बहुत-बहुत आभार ।
Delete....बहुत उत्कृष्ट प्रेरक प्रस्तुति...आभार
ReplyDeleteधन्यवाद संजय जी ।
Deleteअत्यन्त सुन्दर .
ReplyDeleteधन्यवाद मीना जी।
ReplyDeletewahh nice line, now convert yoour line in book format with Best hindi Book Publisher India
ReplyDeleteThanku sooooo much
Deleteबहुत खूब, सुन्दर अभिव्यक्ति
ReplyDeleteधन्यवाद हिमकर जी।
Deleteबहुत सुंदर अभव्यक्ति शुभा।
ReplyDeleteधन्यवाद ,ज्योति ।
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