चलो दौड़कर ले आते हैं
नोटबुक इक नई
तीन सौ पैंसठ पन्नों वाली
कोरा सफेद
हर इक पन्ना
सोच समझ कर
भरना होगा
इक -इक पन्ना
सुंदर सुघड़
लिखाई से
प्रेम प्रीत की स्याही से ।
शुभा मेहता
31st December ,2016
Saturday, 31 December 2016
नई नोटबुक
Friday, 23 December 2016
समय
जीवन चलने का नाम
बहता है झरने की मानिंद
अविरत.......
समय के तो मानों
लगे हो पंख
उडता है
नही करता
किसी का इंतजार
बस समाप्ति की
ओर है ये वर्ष ,फिर....
नया साल है आने वाला
नई खुशियाँ है लाने वाला
कर ले पिछले काम खतम
फिर नईकौड़ी,नया दाव
भुला कर सब
शिकवे गिले
करनी है इक
नई शुरुआत।
शुभा मेहता
23rd Dec ,2016
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