यहाँ मैं सभी को बताना चाहूँगी कि वैक्सीन की दोनों डोज लेने के बाद ये कोरोना अधिक तकलीफ नहीं देता ,इसलिए सभी से निवेदन करूँगी कि वैक्सीन अवश्य लें । अगर हमारी तरह फिर भी आ गए चपेट में तो समय से दवाइयाँ लें ,खूब पानी पिएँ ,फल खाएँ ,पौष्टिक खुराक लें ।
पहले मैं अपनी एक कविता जो मैंने 24April,2020 को लिखी थी साँझा करना चाहूँगी ......
सबक
इस बंधनकाल नें
बहुत कुछ हमको सिखा दिया
कैसे जीवन जीना है
पाठ यह पढा़ दिया
भूल चले थे
जिन बातों को
याद उन्हें दिला दिया ।
मिलजुल कर कैसे
रहना है .......
काम बाँट कैसे करना है ,
जीवन मंत्र
सिखला दिया..,
हँसते -गाते ,खेल -खेल में
काम खत्म हो जाता है ।
समय मिला तो
पापा-मम्मी ,बच्चों के संग
खेल रहे हैं ..
कभी खेलें आँख -मिचौनी
कोई छुपे ,सब ढूँढ रहे है ।
लूडो -कैरम सोच रहे हैं
अपने भी दिन अच्छे आए
धूल जमी थी ,साफ हो गई
कैसे चमक गए सारे ।
घर का भोजन हो गया 'इन'
जंक फूड को 'आउट'किया
कितना स्वाद 'माँ'के हाथों में
यह हमनें पहचान लिया ।
एक बात और सीखी है ,
वो भी तो बतलानी है ...
खाना उतना ही लेना है
जितना हमको खाना है
एक-एक दानें की कीमत
जान गए हैं अब हम सब ।
छोटी-छोटी काम की बातें
बच्चे भी हैं सीख रहे ।
शुभा मेहता
काफी समय तक बचने के बाद घेर ही लिया इसने । एक बातजो इस काल में मैंने सीखी ,बताना चाहूँगी .....
कैसा महसूस करते होगे वो लोग जिन्हें हमारा समाज अस्पृश्य मान कर कितना अभद्र व्यवहार करते हैंं , शायद ये रोग हमारे दिल ,दिमाग का कचरा साफ करने आया है ।
शुभा मेहता
23rd May ,2021